बिहार में कोरोना के बढ़ते मामलों के मद्देनजर राज्य के सभी जिला अस्पतालों और अनुमंडलीय अस्पतालों में अलगाव वार्ड बनाए जाएंगे। स्वास्थ्य विभाग ने जिले और उपखंडों में गंभीर कोरोना रोगियों के उपचार के लिए इन अस्पतालों में अलगाव वार्ड प्रदान करने का निर्णय लिया है। राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यकारी निदेशक मनोज कुमार ने सभी जिलों के जिलाधिकारियों, क्षेत्रीय चिकित्सा अधिकारियों और जिला सिविल सर्जनों को निर्देश दिया है कि वे जिला और उप-विभागीय अस्पतालों में ऐसे वार्ड बनाने के लिए सभी आवश्यक कार्रवाई करें।
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एक अस्पताल में 10 से 30 बिस्तरों का प्रावधान
संक्रमित के इलाज के लिए, आवश्यकता के अनुसार सभी जिला और उप-मंडल अस्पतालों में 10 से 30 बेड की पहचान की जाएगी। राज्य में 36 जिला अस्पताल हैं जबकि 54 उप-विभागीय अस्पताल हैं। इन अस्पतालों में, उपचार के दौरान रोगग्रस्त गंभीर रोगियों को ऑक्सीजन सहित अन्य सुविधाएं प्रदान की जाएंगी। अस्पताल में आने वाले सामान्य मरीज जो कोरोना जांच के दौरान संक्रमित पाए जाएंगे उन्हें अलग से उपचार की सुविधा प्रदान की जाएगी।
समिति के सूत्रों ने कहा कि जिला अस्पताल स्त्री रोग विभाग, चिकित्सा विभाग और अन्य विभागों से संबंधित रोगियों का इलाज करता है। इस मामले में, कोरोना संक्रमित के उपचार के लिए अलग वार्ड और बेड की पहचान की जाएगी।