बिहार के मुजफ्फरपुर में हावड़ा से रक्सौल जा रही मिथिला एक्सप्रेस दुर्घटना का शिकार होने से बच गई। मादीपुर पुल के पास चल रहे प्री-एनआई कार्य के दौरान निर्माण विभाग की लापरवाही के कारण यह हादसा हुआ। विभाग ने बिना प्वाइंट डाले ही ट्रैक के पास सिग्नल प्वाइंट टावर की सीढ़ी छोड़ दी।
इसकी वजह से मिथिला एक्सप्रेस के इंजन के बाद लोहे की सीढ़ी बोगी से टकरा गई। इससे सीढ़ी फंस गई और स्लाइड होने लगी। तेज आवाज से यात्री घबरा गए और शोर मचाने लगे। शोर सुनकर लोको पायलट ने ट्रेन रोक दी। इसके बाद बोगी में फंसी सीढ़ी को निकाला गया और ट्रेन मोतिहारी के लिए रवाना हुई। इस सूचना पर मुख्यालय में हड़कंप मच गया। डीआरएम ने जांच के आदेश दे दिए हैं।
जंक्शन के रेलवे अधिकारियों के अनुसार, आरआरआई का काम पश्चिम में मादीपुर पुल को छोड़ कर चल रहा है। इसके तहत लाइन विस्तार का काम किया जा रहा है। इस क्रम में, गुरुवार को सिग्लन टॉवर के साथ एक सीढ़ी रखी गई थी, लेकिन बिना कास्टिंग के छोड़ दिया गया था। आरआरआई के काम के कारण, ट्रेनों को धीमी गति से संचालित किया जा रहा है। इस वजह से कोई बड़ी घटना नहीं हुई। हादसे के कारण ट्रेन मादीपुर में आधे घंटे तक रुकी रही। क्षेत्र के अधिकारी टीके मिश्रा ने कहा कि सिग्नल सीढ़ी मिथिला एक्सप्रेस में फंस गई थी। लोको पायलट की समझ से बड़ा हादसा नहीं हुआ। मामले की जांच की गई है। लोको पायलट और गार्ड से पूछताछ की गई है। संबंधित विभाग के अधिकारियों से भी जवाब मांगा गया है।