ALERT : भीषण गर्मी और हीट वेव के बीच स्वास्थ्य विभाग का निर्देश, इनके लिए अस्पतालों में बनेगा अलग वार्ड, 24 घंटे तैनात रहेंगे डॉक्टर्स

बिहार में भीषण गर्मी पड़ रही है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग ने निर्देश दिया है कि लू और हीटवेव के मरीजों के लिए अस्पतालों में अलग से वार्ड बनेगा। इनमें 24 घंटे डॉक्टर्स की तैनाती की जाएगी।

बिहार में लगातार जारी भीषण गर्मी एवं लू (हीट वेव) को देखते हुए इससे पीड़ित मरीजों के इलाज के लिए सभी सरकारी अस्पतालों में अलग वार्ड की व्यवस्था होगी। डेडिकेटेड वार्ड में 24 घंटे डॉक्टरों व पारा मेडिकल कर्मियों की तैनाती की जाएगी।
कर्मियों की रोस्टर के अनुसार ड्यूटी लगाई जाएगी। सभी सरकारी प्राथमिक चिकित्सा केंद्र (पीएचसी) से लेकर मेडिकल कॉलेज अस्पतालों (एमसीएच) तक यह व्यवस्था की जाएगी।

स्वास्थ्य विभाग ने इस संबंध में सभी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों के अधीक्षक व प्राचार्यों एवं सभी जिलों के सिविल सर्जन को कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। इस डेडिकेटेड वार्ड में सभी प्रकार की दवाएं एवं आवश्यक उपकरणों की व्यवस्था करने को भी कहा गया है।

उधर, सभी सरकारी अस्पतालों को हीट वेव से पीड़ितों के इलाज को लेकर अलर्ट किया गया है। साथ ही सभी अस्पतालों में भीषण गर्मी व लू से प्रभावितों का लगातार इलाज हो, इसकी कार्ययोजना तैयार करने को कहा गया है।

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दवाओं का पर्याप्त भंडारण होगा …विभाग के आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि सरकारी अस्पतालों को लू पीड़ित मरीजों के इलाज में काम आने वाली दस्त एवं अतिसार संबंधित दवाओं के भंडारण करने का भी निर्देश दिया गया है। एंटी डायरिया, एंटी एमोबिक, एंटी ईमेटिक दवाएं, आईवी, फ्लूड्स, ओआरएस इत्यादि सहित अन्य आवश्यक दवाएं व उपकरणों का पर्याप्त भंडारण करने को कहा गया है।

सभी एंबुलेंस अलर्ट पर रहेंगे…भीषण गर्मी व लू को देखते हुए सभी जिलों के सिविल सर्जन को एंबुलेंस को अलर्ट पर रखने को कहा गया है। सिविल सर्जन स्वयं अपने स्तर से एंबुलेंस में एयरकंडीशनर व अन्य उपकरणों की जांच करेंगे। साथ ही एंबुलेंस में ऑक्सीजन की पर्याप्त उपलब्धता भी सुनिश्चित करेंगे।

दक्षिण बिहार के जिले गर्मी व लू से अधिक प्रभावित …दक्षिण बिहार के जिले भीषण गर्मी व हीट वेव से अधिक प्रभावित हैं। गया, जहानाबाद, नवादा, अरवल, औरंगाबाद, कैमूर, रोहतास, भोजपुर व पटना में गर्मी का सर्वाधिक असर है। उत्तर बिहार के जिलों में अपेक्षाकृत कम प्रभाव है। ऐसे में विभाग के निर्देश में दक्षिण बिहार के जिलों में स्थित अस्पतालों को विशेष तौर पर ध्यान देने को कहा गया है।