मुजफ्फरपुर : कोरोना की तीसरी लहर को लेकर स्वास्थ्य विभाग अलर्ट है। विदेश से आने वाले 550 लोग ट्रेसलेस हो गए हैं।कोरोना के बढ़ रहे मामले को लेकर जिले में अलर्ट जारी किया गया है। दूसरे राज्यों व विदेशों से आने वाले लोगों को लेकर सदर अस्पताल में कंट्रोल रूम को एक्टिव किया गया है।
यह 24 घंटे काम करेगा। सिविल सर्जन डा. विनय कुमार शर्मा ने बताया कि कंट्रोल रूम में तीन शिफ्ट में कर्मचारियों की ड्यूटी लगा दी है। इसमें सुबह आठ बजे से दिन के दो बजे तक, दो बजे से रात्रि आठ बजे तक व रात्रि आठ बजे से सुबह आठ बजे तक कर्मचारी तैनात रहेंगे।
लोगों से अपील है कि अगर उन्हें कोरोना मरीज के संबंध मेें कोई जानकारी हो तो कंट्रोल रूम से शेयर करें। उसका निदान होगा। सीएस ने कहा कि रेलवे स्टेशन पर कई ट्रेनें रात में आती हैं। इसके लिए 24 घंटे स्टेशन पर टीम है। स्वास्थ्य विभाग कोरोना की दोनों लहरों से सबक लेते हुए स्वास्थ्य विभाग पहले से ही तैयारियों में जुटा हुआ है।
इस नंबरों पर कोरोना संबंधी देें जानकारी
0621-2266056, 2266055 पर संदिग्ध मरीजों व विदेशी नागरिकों के बारे में सूचना दें।
विदेश से आने वालों की तलाश
कोरोना के नए वेरिएंट ओमिक्रान को लेकर जिले में अलर्ट जारी कर दिया गया है। जिले में विदेशों से 1050 लोगों की आने की सूचना के बाद से स्वास्थ्य विभाग उन्हें तलाश करने में जुटा है। सभी लोग 22 नवबंर से 27 दिसंबर तक आए हैं, लेकिन अबतक महज 550 लोग ही ट्रेस हो पाए हंै जिनकी कोरोना जांच की गई है। अभी भी जिले में 500 लोग ट्रेसलेस हैं। राज्य मुख्यालय से इन सभी की आने की सूची भेजी जा रही है। कंट्रोल रूम से जिस नंबर पर फोन किया जा रहा है, वह नंबर बंद बता रहा है। इस कारण पहचान में संकट हो रहा है।
सीएस ने बताया कि विदेश से आने वाले अधिकतर लोग विदेशी मोबाइल नंबर दे रखा है, जो बंद बता रहा है। इसके अलावा अभी तक जो सूची भेजी गई है, उसमें सबसे अधिक लोग शहरी क्षेत्र में आए हैं। इनके घर का पता भी पूरी तरह से स्पष्ट नहीं लिखा गया है। जानकारी के अनुसार घर के पता पर मिठनपुरा, कलमबाग चौक, ब्रह्मपुरा लिखा है। ऐसे में घर का ट्रेस करना मुश्किल हो रहा हैं। ये लोग ब्रिटेन, दक्षिण अफ्रीका, ब्राजील, बोत्सवाना, मारीशस, न्यूजीलैंड, जिम्बाब्बे, हांगकांग से आए हैं। विदेश से आने वाले जिनसे संपर्क हो रहा है, उनसे पूरी जानकारी ली जा रही है कि वह कहां से आए हैं। उनकी कोरोना जांच कहां और कब हुई है। इसके साथ ही संबंधित पीएचसी व सीएचसी प्रभारियों को कहा गया है कि उनके घर जाकर उनकी आरटीपीसीआर जांच कराएं। आशा को भी कहा गया है कि वह अपने पोषक क्षेत्र में जांच कराए।