कोरोना की तीसरी लहर से कैसे बचेंगे बच्चे, अस्पतालों में डॉक्टर ही नहीं…

सितंबर में कोरोना की तीसरी लहर आने की आशंका है। इसमें बच्चों के अधिक असुरक्षित होने की आशंका व्यक्त की जा रही है। इस संबंध में स्वास्थ्य विभाग ने भी अपने स्तर से तैयारी शुरू कर दी है, लेकिन ज्यादातर सरकारी अस्पतालों में बच्चों को कोरोना से बचाने के लिए डॉक्टर और शिशु आईसीयू नहीं है. ऐसे में अगर बच्चों में कोरोना के मामले बढ़ते हैं तो उन्हें संभालना भागलपुर जिले के सरकारी अस्पतालों की शक्ति से बाहर होगा.

भागलपुर में 11 पीएचसी, तीन रेफरल, दो अनुमंडल व एक सदर अस्पताल है। सदर अस्पताल, अनुमंडल अस्पताल कहलगांव समेत जिले के तीन अस्पतालों में एक (कुल तीन) बाल रोग विशेषज्ञ हैं. अन्य अस्पतालों में बच्चों के डॉक्टर नहीं हैं। एसएनसीयू (सिक न्यूबॉर्न केयर यूनिट) की बात करें तो सदर अस्पताल में सिर्फ 12 बेड वाला एसएनसीयू चल रहा है। बाल रोग विभाग जिले के किसी भी अस्पताल में काम नहीं कर रहा है। भागलपुर में 298 स्वीकृत डॉक्टरों में से 64 डॉक्टर ही जिले के अस्पतालों में तैनात हैं.

Also read:-सुशांत सिंह राजपूत : मुजफ्फरपुर कोर्ट 24 जून को सुनाएगी फैसला, सलमान से लेकर एकता कपूर तक हैं आरोपी…

Whatsapp Group Join
Telegram channel Join

बाल रोग विभाग में सिर्फ 30 बेड तक ऑक्सीजन की व्यवस्था

मायागंज अस्पताल के 100 बेड के बाल रोग विभाग में 30 बेड पर ही ऑक्सीजन उपलब्ध है. आठ बेड का पीकू है, जहां दोनों वेंटिलेटर दो साल से खराब हैं। इसके अलावा 36 बेड का एसएनसीयू है। यहां एक प्रोफेसर समेत एक दर्जन से अधिक बाल रोग विशेषज्ञ तैनात हैं। ऐसे में अगर जिले के बच्चों में कोरोना का संक्रमण फैलता है तो मायागंज अस्पताल के बाद कोई भी सरकारी अस्पताल तैयार नहीं है.

मायागंज अस्पताल में तैयारियां शुरू

मायागंज अस्पताल के अधीक्षक डॉ. असीम कुमार दास ने बताया कि बाल रोग विभाग में 50 बेड तक ऑक्सीजन की व्यवस्था की जा रही है. 10 बेड का पीकू बनाया जा रहा है। इसके लिए दस वेंटिलेटर खरीदे जा रहे हैं। वहीं सिविल सर्जन डॉ. उमेश शर्मा ने बताया कि बच्चों के डॉक्टरों की कमी को पूरा करने के लिए शासन स्तर से तैयारी शुरू कर दी गई है. जिले के सभी 11 पीएचसी-सीएचसी में सदर अस्पताल, अनुमंडलीय अस्पताल कहलगांव, नवगछिया, रेफरल अस्पताल सुल्तानगंज, नाथनगर व पीरपैंती में 20 बेड का शिशु वार्ड तथा छह बेड का शिशु वार्ड बनाया जा रहा है. यहां बच्चों के डॉक्टर के साथ जरूरी दवाएं, ऑक्सीजन और डॉक्टरों की टीम उनके इलाज के लिए मौजूद रहेगी.

Also read:-BIHAR SARKAR JOBS  2021: बिहार में  बंपर नियुक्ति, इतने पदों पर भर्ती के लिए यहां देखें …