बिहार में फैल रहा ब्लैक फंगस, अब तक 29 मरीजों में हुई पुष्टि

पटना में शनिवार को ब्लैक फंगस के 10 नए मरीजों को विभिन्न अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। वहीं सबसे ज्यादा मरीज पटना एम्स में, एक आईजीआईएमएस में और एक मरीज पारस अस्पताल में है। बिहार के सरकारी और कुछ निजी अस्पतालों में अब तक काले फंगस के कुल 29 मरीजों की पहचान की जा चुकी है। इन सभी का इलाज अस्पतालों में चल रहा है। एम्स कोविड वार्ड के नोडल अधिकारी ने बताया कि शनिवार को एम्स में आठ नए ब्लैक फंगस मरीज भर्ती किए गए हैं। एम्स में अब तक कुल ब्लैक फंगस के 20 मरीज भर्ती हैं। इन सभी का इलाज चल रहा है। सोमवार से काले फंगस के मरीजों के लिए अलग वार्ड बनाया जाएगा।एम्स में भर्ती मरीजों में पटना, नेउरा, आरा, बक्सर, नवादा, मुजफ्फरपुर, औरंगाबाद के मरीज हैं। वहीं, आईजीआईएमएस के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि ब्लैक फंगस का एक नया मरीज भर्ती किया गया है, जो पटना का रहने वाला है। वहीं, गोपालगंज के एक नए मरीज को पारस एचएमआरआई अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

97 फीसदी मामलों में संक्रमण से बचाता है कोरोना का टीका

गांवों में बढ़ रहे काले फंगस के मरीज patients कोविड संक्रमण से उबरने के बाद खासतौर पर शुगर, ब्लड प्रेशर और किडनी की बीमारी से पीड़ित मरीजों में इस बीमारी की चपेट में अधिक लोग आ रहे हैं. जानकारों का कहना है कि ग्रामीण क्षेत्र में ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या में काफी इजाफा होगा। ऐसा इसलिए है क्योंकि लोग ग्रामीण क्षेत्रों में जागरूकता की कमी के बारे में गंभीर नहीं हैं और दूसरा व्यक्तिगत स्वच्छता या स्वच्छता के बारे में नहीं है।अधिक मामले ग्रामीण क्षेत्रों से सामने आ रहे हैं। यदि अभी ग्रामीण क्षेत्रों में व्यवस्था नहीं की गई तो आने वाले समय में स्थिति गंभीर हो सकती है। ब्लैक फंगस के मरीज लगातार बढ़ रहे हैं। सबसे ज्यादा मरीज पटना एम्स में भर्ती हैं। इसी के साथ एम्स प्रशासन काले फंगस के मरीजों के लिए सोमवार से अलग वार्ड शुरू करने जा रहा है।

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गोपालगंज में मिला काला कवक का दूसरा मरीज दूसरा संदिग्ध काला कवक रोगी शनिवार को गोपालगंज जिले में मिला। संबंधित मरीज बरौली प्रखंड के जालपुरवा गांव का बताया गया है। सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में उनका इलाज चल रहा है। परिजनों ने बताया कि पच्चीस दिन पहले वह कोरोना की जांच में संक्रमित पाया गया था। इसके बाद होम आइसोलेशन पर ही वह स्वस्थ हो गए। उनकी रिपोर्ट भी निगेटिव आई है। शनिवार को दोनों की आंखों की रोशनी जाने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इससे पहले बुधवार को सदर प्रखंड के मानिकपुर गांव में काले कवक का एक संदिग्ध मरीज मिला था। उनका पटना में इलाज चल रहा है।